BJP high command upset over mayor’s election- चंडीगढ़ मेयर के चुनाव ने पूरे देश की राजनीति में भी हलचल मचा रखी है। सूत्रों की माने तो इस पूरे घटनाक्रम से भाजपा हाईकमान काफी खफा नजर आ रही है। चंडीगढ़ भाजपा के एक गुट द्वारा हाईकमान को सारे प्रकरण में गुमराह किया गया जिससे पार्टी की छवि खराब हुई।
मेयर चुनाव को लेकर बीते कुछ दिनों में जो भी घटनाक्रम घटा, उसने भाजपा को परेशानी में डाल दिया है। कहा जा रहा है कि मंगलवार को सर्वोच्च न्यायालय के फैसले से पार्टी की जबरदस्त किरकिरी हुई।
सूत्रों के अनुसार मामले में भाजपा हाईकमान द्वारा उस गुट की जवाबदेही तय की जा सकती है जिसने हाईकमान को गुमराह किया। भाजपा के कई वरिष्ठ नेता पूरे प्रकरण से नाराज दिखाई दे रहे हैं।
हाईकमान को ये भी लग रहा है कि लोकसभा चुनाव में टिकट हासिल करने के लिये, शहर की राजनीति में दूसरे नीचा और अपने को ऊपर दिखाने की दिशा में ये काम हुआ
सूत्रों के अनुसार यह जानकारी ली जा रही है कि इस सारे खेल के पीछे किसका हाथ रहा है, भाजपा हाईकमान इस पर भी गहन चर्चा कर रही है कि किसके कहने पर रिटर्निंग अफसर अनिल मसीह ने ये सारी धांधली की। सूत्रों के अनुसार कहा जा रहा है कि स्थानीय नेताओं को इस तरीके से पेश नहीं आना चाहिए था क्योंकि इससे पूरी भाजपा पार्टी की साख को नुकसान पहुंचा है।
अब तो जनता के साथ साथ, बीजेपी के नेता और करकर्ता भी यह कह रहे कि पूरी पार्टी की इस पूरे प्रसंग के बाद कहीं बात करने लायक नही छोड़ा। चंडीगढ़ भाजपा में आपसी गुटबंदी और क्रेडिट लेने की होड़ में यह सारा खेल किया गया।
मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट ने अनिल मसीह द्वारा की करतूत के कारण उस पे करवाई करने की बात भी कही, भाजपा हाईकमान ये भी जानना चाह रहा है कि इस रणनीति के पीछे कौन था? अब पूरे प्रकरण के बाद भाजपा में भी जबरदस्त गुटबाजी शुरू हो गई है।